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अतिक्रमण पर गरजा बुलडोजर : दनकौर में 500 करोड़ की सरकारी जमीन कराई कब्जों से मुक्त

गौतमबुद्धनगर में यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण की कार्रवाई, खाली हुई 46,000 वर्ग मीटर सरकारी तथा प्राधिकरण की जमीन, औद्योगिक और शहरी विकास के लिए है आरक्षित

ग्रेटर नोएडा, 11 दिसंबर 2025:

यूपी के गौतमबुद्धनगर के सदर तहसील क्षेत्र के ग्राम दनकौर में यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यीडा) ने अवैध कब्जों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए बहुमूल्य भूमि को अतिक्रमण से मुक्त करा लिया। कार्रवाई के तहत 4.6 हेक्टेयर यानी करीब 46,000 वर्ग मीटर सरकारी तथा प्राधिकरण की जमीन पर किए गए सभी अवैध निर्माणों को ध्वस्त कर दिया गया। इस भूमि का अनुमानित बाजार मूल्य लगभग 500 करोड़ रुपये बताया जा रहा है।

यह अभियान यीडा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी के ओएसडी शैलेंद्र सिंह के नेतृत्व में चलाया गया। कार्रवाई के दौरान भारी संख्या में पुलिस बल तैनात रहा। जेसीबी की मदद से अवैध टीनशेड, कच्ची-पक्की दीवारें, झोपड़ियां तथा अन्य अस्थायी व स्थायी निर्माण को पूरी तरह तोड़ दिया गया। अधिकारियों के अनुसार लंबे समय से प्राधिकरण की यह जमीन अवैध रूप से घिरी हुई थी। ये जमीन यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे औद्योगिक और शहरी विकास के लिए आरक्षित है।

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अधिकारियों के मुताबिक ने सीएम योगी के नेतृत्व में यीडा क्षेत्र में विकास परियोजनाओं को तेजी से आगे बढ़ाने के लिए ठोस प्रयास किए जा रहे हैं। सरकारी अथवा प्राधिकरण की भूमि पर किसी भी तरह का अवैध कब्जा बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। आगे से ऐसा करने वालों के खिलाफ लागत वसूली के साथ-साथ कठोर कार्रवाई भी की जाएगी।

अधिकारियों का कहना है कि दनकौर में 46,000 वर्ग मीटर से अधिक जमीन को कब्जे से मुक्त कराना प्रदेश सरकार की विकास प्रतिबद्धता का मजबूत संकेत है। यह कदम न केवल यीडा की नियोजित परियोजनाओं को गति देगा बल्कि निवेशकों के विश्वास को भी बढ़ाएगा। उन्होंने उल्लेख किया कि यमुना एक्सप्रेसवे और ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे के इंटरचेंज क्षेत्रों में किसानों की 7% आबादी वाली भूमि तथा अन्य सरकारी संपत्तियों को भी व्यवस्थित रूप से मुक्त कराकर विकास कार्यों को और तेज किया जाएगा।

यीडा अधिकारियों का कहना है कि इस बड़े अभियान के बाद क्षेत्र में औद्योगिक ढांचे के विस्तार, निवेश अवसरों के बढ़ने और रोजगार संभावनाओं में तेजी आने की उम्मीद है। दनकौर की यह कार्रवाई स्पष्ट संदेश देती है कि प्रदेश सरकार और प्राधिकरण दोनों मिलकर अतिक्रमण मुक्त, पारदर्शी और सुव्यवस्थित विकास के लक्ष्य की ओर तेजी से बढ़ रहे हैं।

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