नई दिल्ली, 11 जून 2025
ऑपरेशन सिंदूर के बाद विश्वभर में पाकिस्तान और उसके प्रायोजित आतंकवाद को बेनकाब करने के लिए 30 से अधिक देशों की यात्रा में गए भारत के प्रतिनिधिमंडलों के सदस्यों से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को मुलाकात की।
दिल्ली में प्रधानमंत्री आवास, 7 लोक कल्याण मार्ग पर आयोजित हुई इस बैठक में पीएम मोदी ने प्रतिनिधिमंडल के सदस्यों को देश लौटने पर बधाई दी और एक्स पर लिखा, “विभिन्न देशों में भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले विभिन्न प्रतिनिधिमंडलों के सदस्यों से मुलाकात की और शांति के लिए भारत की प्रतिबद्धता और आतंकवाद के खतरे को खत्म करने की आवश्यकता पर विस्तार से चर्चा की।
Met members of the various delegations who represented India in different countries and elaborated on India’s commitment to peace and the need to eradicate the menace of terrorism. We are all proud of the manner in which they put forward India’s voice. pic.twitter.com/MZqQYgsAEp
— Narendra Modi (@narendramodi) June 10, 2025
हम सभी को इस बात पर गर्व है कि उन्होंने भारत की आवाज को आगे बढ़ाया। “सत्तारूढ़ गठबंधन और विपक्ष दोनों के नेताओं की मौजूदगी ने इस पहल को द्विदलीय चरित्र प्रदान किया। प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व प्रमुख नेताओं ने किया, जिनमें भाजपा से रविशंकर प्रसाद और बैजयंत पांडा, कांग्रेस से शशि थरूर, जेडी(यू) से संजय झा, शिवसेना से श्रीकांत शिंदे, डीएमके से कनिमोझी और एनसीपी(एसपी) से सुप्रिया सुले शामिल थे। असदुद्दीन ओवैसी (एआईएमआईएम), मनीष तिवारी (कांग्रेस) और प्रेम चंद गुप्ता (आरजेडी) जैसे सांसदों को शामिल करने से राष्ट्रीय महत्व के मुद्दे पर एकजुट मोर्चा पेश करने के सरकार के प्रयासों को और बल मिला।
वहीं इससे पहले विदेश मंत्रालय ने पहले अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत के रुख को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत करने के लिए टीमों की सराहना की थी। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भी प्रतिनिधियों के साथ एक अलग बातचीत की, जिसमें पाकिस्तान से उत्पन्न आतंकवाद के खतरे के बारे में वैश्विक जागरूकता पैदा करने में उनकी भूमिका की प्रशंसा की। सरकार का कूटनीतिक आक्रमण सीमा पार आतंकवाद को कम करके कश्मीर मुद्दे का अंतर्राष्ट्रीयकरण करने के पाकिस्तान के प्रयासों का मुकाबला करने के एक बड़े प्रयास का हिस्सा है।