
हरेंद्र दुबे
गोरखपुर, 1 मई 2025:
यूपी के गोरखपुर के हरपुरबुदहट क्षेत्र के कुचडेहरी गांव में घर के मुखिया की दस वर्ष पूर्व हुई मौत के बाद कलह ने पूरे परिवार को लील लिया। पहले 18 साल के बेटे मोहित ने फांसी लगाकर जान दी तो बेटे को फंदे से लटका देख मां और बहन ने जहर खा लिया। इलाज के दौरान पहले बहन फिर मौत से जूझ रही मां ने भी दम तोड़ दिया।
घर के मुखिया का दस वर्ष पूर्व हुआ था निधन, मुम्बई में काम करता था बेटा मोहित
हरपुरबुदहट क्षेत्र के कुचडेहरी गांव में रहने वाले अंगद कन्नौजिया की दस साल पहले मौत हो गई थी।घर में पत्नी कौशिल्या बेटी सुप्रिया और बेटा मोहित ही रह गया। मोहित मुंबई में काम करके मां व बहन को पैसे भेजता था जिससे गृहस्थी की गाड़ी किसी तरह चलती रहती थी।
एक हफ्ते पहले आया था बेटा, दवा लेने जाते समय मां-बहन से हुआ विवाद, घर आकर लगाई फांसी
मोहित एक सप्ताह पहले ही गांव लौटा था। बुधवार को वह अपनी मां और बहन के साथ दवा लेने हरपुर गया था। रास्ते में किसी बात को लेकर कहासुनी हो गई, जिससे क्षुब्ध होकर वह घर लौट आया और खुद को कमरे में बंद कर फांसी लगा ली।
घर में बेटे को फंदे से लटका देख मां व बहन दोनों ने खा लिया जहर
इधर दवा लेकर मां और बहन वापस लौटीं, तो बेटे को फंदे से लटका देख वे सदमे में आ गईं और उन दोनों ने भी जहर खा लिया। पुलिस ने मोहित के शव को पोस्टमार्टम कराया। जहर खाने से बहन और की हालत नाजुक थी।
बहन ने रास्ते में मां ने इलाज के दौरान दम तोड़ा, परिवार मिटने से शोक में डूबा गांव
बहन ने अस्पताल पहुंचने से पहले ही दम तोड़ बैठी वहीं मां बीआरडी मेडिकल कॉलेज में मौत से जूझती रही। देर रात वो भी जिंदगी की जंग हार गई और दम तोड़ बैठी। गांव वाले बताते हैं कि परिवार आर्थिक तंगी का शिकार था इसलिए परिवार जीविका चलाने के लिए संघर्ष करता रहता था। बेटा मोहित व बेटी सुप्रिया दोनों अविवाहित थे। फिलहाल एक के बाद एक तीन मौतों से पूरा परिवार खत्म हो गया। पूरा गांव शोक के साथ हैरत में है कि कैसे एक मामूली बात इतनी बिगड़ी कि तीन जानें चलीं गईं।







