पटना, 19 अप्रैल 2025
राजद नेता तेजस्वी यादव ने शनिवार को बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और जदयू पर आगामी विधानसभा चुनाव के लिए अपने अभियान को बढ़ावा देने के लिए सार्वजनिक धन का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया।
पटना में बोलते हुए तेजस्वी ने आरोप लगाया कि सरकार की ‘महिला संवाद’ पहल एक राजनीतिक मुखौटा है जिसे जन संपर्क कार्यक्रम के रूप में पेश किया गया है। उन्होंने दावा किया कि ग्रामीण विकास विभाग के तहत 600 डिजिटल रथों पर 225 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं, जिन्हें उन्होंने राज्य प्रायोजित उपकरण के रूप में प्रच्छन्न “चुनावी वाहन” बताया।
उन्होंने आगे आरोप लगाया कि दिसंबर 2024 से सिर्फ़ छह से सात कैबिनेट बैठकों में 76,622 करोड़ रुपये की योजनाएँ- जिनमें से ज़्यादातर निर्माण से जुड़ी हैं- को मंज़ूरी दे दी गई। अकेले 19 दिसंबर को 1,949 करोड़ रुपये की मंजूरी दी गई। उनके अनुसार, मंत्री 30% कमीशन ले रहे हैं और टेंडर जल्दी-जल्दी पास किए जा रहे हैं, जिसमें अक्सर स्थानीय ठेकेदारों को दरकिनार कर दिया जाता है।
तेजस्वी ने बिहार पर बढ़ते कर्ज के बोझ के प्रति आगाह करते हुए कहा कि राज्य को सालाना 25,000-30,000 करोड़ रुपये ब्याज के रूप में चुकाना पड़ रहा है, जो राज्य के कुल उधार का लगभग 9% है।
शुक्रवार को नीतीश कुमार ने महिला संवाद अभियान की शुरुआत की जिसका उद्देश्य 2 करोड़ से ज़्यादा महिलाओं को सरकारी योजनाओं के बारे में जानकारी देना है। पहले दिन करीब 600 कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिनमें से 60 दिनों में 70,000 कार्यक्रम आयोजित किए जाने थे। हालांकि, तेजस्वी ने इसे करदाताओं के पैसे से किया गया राजनीतिक प्रचार बताकर खारिज कर दिया।