नई दिल्ली, 1 दिसंबर 2025:
सपा के मुखिया एवं यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision–SIR) को लेकर चुनाव आयोग और भाजपा पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने आरोप लगाया कि आयोग पर भाजपा का लक्ष्य पूरा करने का दबाव है। इसी जल्दबाजी में SIR कराया जा रहा है, जिसके चलते कई बूथ स्तर अधिकारियों (बीएलओ) की मौत तक हो चुकी है।
संसद परिसर में मीडिया से बातचीत के दौरान अखिलेश ने कहा कि भाजपा SIR की आड़ में विपक्षी दलों के समर्थकों के वोट कटवाने का प्रयास कर रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि पूरी प्रक्रिया जानबूझकर शादी-समारोहों के मौसम में आयोजित की जा रही है ताकि लोग घरों से बाहर रहें और अनुपस्थिति के आधार पर उनके नाम सूची से हटाए जा सकें।
अखिलेश ने दावा किया कि बीएलओ पर फॉर्म बांटने और भरवाने का इतना दबाव है कि कई कर्मचारी तनाव में अपनी जान गंवा बैठे हैं। कई पर वोट काटने का दबाव भी बनाया जा रहा है। उन्होंने सवाल उठाया कि ये अधिकारी गलियों में भटक रहे हैं। दिन-रात काम कर रहे हैं। आखिर इतनी जल्दबाजी क्यों जबकि उत्तर प्रदेश में कोई चुनाव आसपास नहीं है?
उन्होंने कहा कि भाजपा बेरोजगारी जैसे असली मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए SIR को मुद्दा बना रही है। आरोप लगाया कि बीएलओ की मौत क्या ड्रामा है? असल ड्रामा तो भाजपा कर रही है, जो मतदाताओं को वोट डालने से रोकने तक की कोशिश कर चुकी है। सपा प्रमुख ने मांग की कि SIR की प्रक्रिया निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से पूरी हो तथा किसी भी मतदाता का नाम अनावश्यक रूप से न हटाया जाए।






