लखनऊ, 22 दिसंबर 2025
यूपी की राजधानी लखनऊ स्थित विश्वविख्यात किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) का नाम एक बार फिर विवादों से जुड़ गया है। विश्वविद्यालय में एमडी की पढ़ाई कर रही एक महिला रेजिडेंट डॉक्टर के कथित धर्मांतरण के प्रयास के मामले को लेकर सोमवार को विश्व हिंदू परिषद (विहिप) और बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारी केजीएमयू के मुख्य द्वार पर बैनर-पोस्टर लेकर पहुंचे और नारेबाजी की।
मालूम हो कि पीड़िता के पिता ने एक मुस्लिम रेजिडेंट डॉक्टर पर बेटी को धर्म बदलने के लिए दबाव डालने का गंभीर आरोप लगाया है। पीड़िता के पिता का कहना है कि आरोपी डॉक्टर ने उनकी बेटी को रेजिमेंट डॉक्टर ने प्रेमजाल में फंसाया और फिर शादी करने के नाम पर शारीरक शोषण किया। शादी के लिए कहने पर उनकी बेटी पर धर्म परिवर्तन का दबाव बनाया।

इस्लाम अपनाने से मना करने के बावजूद वह लगातार मानसिक रूप से प्रताड़ित करता रहा। इससे परेशान होकर महिला रेजिडेंट डॉक्टर ने आत्महत्या का प्रयास किया। इस संबंध में उसके पिता ने मुख्यमंत्री कार्यालय और राज्य महिला आयोग को लिखित शिकायत भेजी है।
प्रदर्शन के दौरान विहिप के प्रांत संगठन मंत्री समरेंद्र सिंह ने कहा कि यह मामला केवल व्यक्तिगत नहीं बल्कि एक सुनियोजित प्रवृत्ति का हिस्सा है। उन्होंने आरोप लगाया कि आरोपी पहले भी एक अन्य युवती का धर्म परिवर्तन कराकर उससे शादी कर चुका है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय प्रशासन यह कहकर जिम्मेदारी से नहीं बच सकता कि उसे कोई औपचारिक शिकायत नहीं मिली है। प्रशासन को स्वतः संज्ञान लेकर निष्पक्ष जांच करानी चाहिए।

विहिप नेता ने यह भी मांग की कि यह जांच की जाए कि केजीएमयू परिसर में किसी संगठित धर्मांतरण गिरोह की गतिविधियां तो नहीं चल रहीं। उन्होंने चेतावनी दी कि जब तक ठोस कार्रवाई नहीं होती प्रदर्शन जारी रहेगा। वहीं बजरंग दल के जिला संयोजक दीपक ने इस प्रकरण को लव जिहाद से जोड़ते हुए कहा कि यदि विश्वविद्यालय प्रशासन ने सख्त कदम नहीं उठाए तो आने वाले दिनों में हजारों कार्यकर्ता प्रदर्शन में शामिल होंगे। उन्होंने स्पष्ट किया कि केवल आश्वासन से संगठन संतुष्ट नहीं होगा।
इस पूरे मामले पर केजीएमयू के प्रवक्ता प्रो. केके सिंह का कहना है कि फिलहाल विश्वविद्यालय को कोई लिखित शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। हालांकि, प्रशासन ने अपने स्तर पर प्रारंभिक जांच शुरू कर दी है। उन्होंने कहा कि औपचारिक शिकायत मिलने पर जांच समिति गठित कर निष्पक्ष कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल यह मामला शैक्षणिक संस्थानों में सुरक्षा को लेकर कई सवाल खड़े कर रहा है।






