
अहमदाबाद, 24 जुलाई 2025
अहमदाबाद विमान दुर्घटना में मारे गए लोगों के शव उनके परिवारों को सौंपेने के एक मामले में नया विवाद सामने आया है। दरअसल ब्रिटेन के दो परिवारों ने आरोप लगाया है कि उन्हें गलत शव सौंपे गए। पीड़ितों के अवशेषों की गलत पहचान की गई और उन्हें यूके भेज दिया गया, और शवों का डीएनए परिवार के सदस्यों से मेल नहीं खाता।
जानकारी अनुसार पीडितों के परिवार व्दारा वकील जेम्स हीली ने बताया कि ब्रिटेन में रहने वाले एक परिवार ने अपने रिश्तेदार के अंतिम संस्कार की तैयारी शुरू कर दी थी, लेकिन डीएनए परीक्षण से पता चला कि ताबूत में एक अन्य यात्री का शव था, जिसके बाद अंतिम संस्कार रद्द करना पड़ा। एक अन्य परिवार को भी अपने परिवार के सदस्यों के अवशेष एक अन्य यात्री के अवशेषों के साथ मिले हुए मिले। वकील ने कहा कि दोनों पीड़ितों के शव एक ही ताबूत में रखे गए थे।
इस मामले में भारत की प्रतिक्रिया :
ब्रिटेन के इन आरोपों में भारत ने भी अपनी इन रिपोर्टों पर प्रतिक्रिया दी है। भारत ने बुधवार को ब्रिटिश मीडिया की उस रिपोर्ट को खारिज कर दिया जिसमें कहा गया था कि ब्रिटेन (यूके) में दो परिवारों को अहमदाबाद में एयर इंडिया विमान दुर्घटना में मारे गए लोगों में से अन्य लोगों के शव दिए गए हैं।
Our response to media queries regarding a report in the Daily Mail on the Air India crash⬇️
🔗 https://t.co/pTWIIMSBhi pic.twitter.com/IP9QgLNuz7— Randhir Jaiswal (@MEAIndia) July 23, 2025
इस पर प्रतिक्रिया देते हुए विदेश मंत्रालय ने कहा कि सभी शवों को मृतकों की गरिमा से समझौता किए बिना अत्यंत व्यावसायिकता और सम्मान के साथ संभाला गया।
12 जून को, अहमदाबाद से लंदन जा रहा एयर इंडिया का बोइंग 787 ड्रीमलाइनर विमान उड़ान भरने के कुछ ही सेकंड बाद एक डॉक्टर के आवास से टकरा गया, जिससे सभी 241 यात्रियों और घटनास्थल पर मौजूद 19 लोगों की मौत हो गई। एक यात्री बच गया। मृतकों में 53 ब्रिटिश नागरिक शामिल थे।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, “हमने ब्रिटिश मीडिया की रिपोर्ट देखी है और ब्रिटिश सरकार के संपर्क में हैं। संबंधित अधिकारियों ने त्रासदी के बाद प्रोटोकॉल और तकनीकी सहायता के माध्यम से मृतकों की पहचान कर ली है।” जायसवाल डेली मेल समाचार एजेंसी की रिपोर्ट पर प्रतिक्रिया दे रहे थे, जिसमें कहा गया था कि शव सौंपते समय गलत शव सौंप दिया गया, जिससे परिवार को और अधिक पीड़ा हुई।






