लखनऊ, 21 दिसंबर 2025:
यूपी सरकार आयुष चिकित्सा पद्धतियों को वैश्विक पहचान दिलाने और आमजन तक पहुंचाने की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाने जा रही है। इस कड़ी में राज्य का आयुष विभाग अब डिजिटल प्लेटफॉर्म पर अपनी मजबूत मौजूदगी दर्ज कराने की तैयारी में है। आयुष विभाग आईआईटी कानपुर के सहयोग से एक अत्याधुनिक और यूजर-फ्रेंडली आयुष मोबाइल एप विकसित करेगा। इसके माध्यम से मरीजों को ऑनलाइन ओपीडी, अपॉइंटमेंट और भविष्य में टेली-परामर्श जैसी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी।
यह पहल सीएम योगी आदित्यनाथ की उस मंशा को साकार करने की दिशा में अहम मानी जा रही है जिसके तहत आयुष चिकित्सा पद्धतियों को जन-जन तक पहुंचाना और स्वास्थ्य सेवाओं में पारदर्शिता लाना सरकार की प्राथमिकता है। आयुष विभाग के प्रमुख सचिव रंजन कुमार ने बताया कि सीएम के निर्देशानुसार आयुष एप के विकास को लेकर आईआईटी कानपुर से लगातार बातचीत चल रही है। एप को आधुनिक तकनीक से लैस, सुरक्षित और भरोसेमंद बनाया जाएगा जिससे मरीजों का डाटा पूरी तरह सुरक्षित रहे।

एप के लॉन्च होने के बाद मरीजों को आयुष अस्पतालों और केंद्रों में ओपीडी पंजीकरण के लिए कतारों में खड़े होने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी। लोग अपने मोबाइल फोन के जरिए घर बैठे ही डॉक्टर से मिलने के लिए ऑनलाइन अपॉइंटमेंट ले सकेंगे। इससे समय की बचत के साथ अस्पतालों में बढ़ती भीड़ पर भी प्रभावी नियंत्रण लगेगा। यह सुविधा विशेष रूप से बुजुर्गों, महिलाओं और दूर-दराज के क्षेत्रों से आने वाले मरीजों के लिए बेहद लाभकारी साबित होगी।
आयुष एप के माध्यम से आयुर्वेद, योग, यूनानी और होम्योपैथी जैसी चिकित्सा पद्धतियों से जुड़ी विस्तृत और प्रमाणिक जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी। एप पर विभिन्न रोगों के उपचार, दवाओं का विवरण, नजदीकी आयुष अस्पतालों और डिस्पेंसरी की सूची, डॉक्टरों की जानकारी और स्वास्थ्य से जुड़े उपयोगी सुझाव भी दिए जाएंगे। इसके साथ ही योगी सरकार द्वारा संचालित आयुष से संबंधित योजनाओं और कार्यक्रमों की पूरी जानकारी भी एक ही प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध होगी।
भविष्य को ध्यान में रखते हुए इस एप में और भी कई उन्नत सुविधाएं जोड़ने की योजना है। आने वाले समय में टेली-परामर्श, ऑनलाइन जांच रिपोर्ट, डिजिटल हेल्थ रिकॉर्ड और विशेषज्ञ डॉक्टरों से वीडियो कंसल्टेशन जैसी सेवाएं भी शुरू की जाएंगी। इससे मरीजों को घर बैठे गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सलाह मिल सकेगी और आयुष चिकित्सा पद्धतियों के प्रति लोगों का विश्वास और अधिक मजबूत होगा।
डिजिटल आयुष एप उत्तर प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्था को तकनीक से जोड़ने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। यह पारंपरिक चिकित्सा ज्ञान को आधुनिक प्लेटफॉर्म पर लाकर आम जनता के लिए अधिक सुलभ और प्रभावी बनाएगा।






