
किश्तवाड़, 15 अगस्त 2025
जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले के चशोती गांव में मचैल माता मंदिर के यात्रा मार्ग पर गुरुवार दोपहर बादल फटने से भारी तबाही मच गई। इस हादसे में अब तक 46 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें सीआईएसएफ के दो जवान भी शामिल हैं, जबकि करीब 200 लोग अभी भी लापता हैं। घटना के समय लंगर की लाइन में खड़े श्रद्धालुओं और दुकानों, घरों व मंदिरों को मलबे और पानी के तेज बहाव ने अपनी चपेट में ले लिया। लगभग दो मिनट में पत्थरों और मलबे का सैलाब आ गया, जिससे लोगों को संभलने का मौका भी नहीं मिला।
आपदा में 100 लोग घायल हुए हैं, जिनमें से 37 की हालत गंभीर बताई जा रही है। घायलों का इलाज किश्तवाड़ जिला अस्पताल और पड्डार के उप-जिला अस्पताल में जारी है। मौके पर राहत और बचाव कार्य तेज़ी से चल रहा है, जिसमें एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, सेना, पुलिस और स्थानीय स्वयंसेवक शामिल हैं। 9500 फीट की ऊंचाई पर स्थित मचैल माता मंदिर तक चशोती गांव से 8.5 किलोमीटर की पैदल यात्रा करनी होती है और हादसा मंदिर यात्रा के चरम समय में हुआ।
बाढ़ के कारण 16 घर, सरकारी इमारतें, तीन मंदिर, चार पवन चक्कियां, एक पुल और एक दर्जन से अधिक वाहन क्षतिग्रस्त हो गए। जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने स्वतंत्रता दिवस पर होने वाले सभी सांस्कृतिक कार्यक्रम रद्द कर दिए हैं, जबकि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने उपराज्यपाल और मुख्यमंत्री से बात कर हर संभव मदद का आश्वासन दिया है। प्रशासन ने श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है।






