अंशुल मौर्य
वाराणसी, 1 सितंबर 2025:
यूपी के वाराणसी जिले का कचहरी परिसर सोमवार को वकीलों की नारेबाजी से गूंज उठा। वकीलों ने शिवपुर थाने में तीन अधिवक्ताओं के खिलाफ दर्ज क्रॉस FIR को झूठी बताया। नाराज वकीलों डीएम ऑफिस से लेकर पुलिस कमिश्नर कार्यालय तक जमकर प्रदर्शन किया और प्रशासन के खिलाफ नारे लगाए। इस दौरान तालाबंदी की चेतावनी दी गई।प्रदर्शन के दौरान भारी पुलिस बल तैनात रहा।
सोमवार सुबह कचहरी खुलते ही सैकड़ों वकील DM कार्यालय के पोर्टिको पर जमा हुए और नारेबाजी शुरू कर दी। इसके बाद वे CP कार्यालय पहुंचे और फिर दोबारा DM कार्यालय लौटकर प्रदर्शन तेज कर दिया। नारों से पूरा कचहरी परिसर गूंज उठा। वकीलों ने इसे टोकन स्ट्राइक बताया और चेतावनी दी कि अगर उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं तो पूरी तहसील में तालाबंदी की जाएगी। प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने वकीलों को समझाने की कोशिश की और स्थिति को शांत कराया। DM और CP कार्यालय के आसपास भारी पुलिस बल तैनात किया गया ताकि कानून-व्यवस्था बनी रहे।
वकीलों का आरोप है कि लेखपालों ने उनके खिलाफ झूठी क्रॉस FIR दर्ज कराई है। उनका दावा है कि एक वायरल वीडियो में साफ दिख रहा है कि लेखपालों ने अधिवक्ताओं के साथ दुर्व्यवहार किया। वकीलों ने इसे प्रशासन और पुलिस की मिलीभगत करार देते हुए लेखपाल शिवश्याम सिंह को तत्काल निलंबित करने और FIR दर्ज करने वाले थानेदार को बर्खास्त करने की मांग की है।
बता दें कि गत 27 अगस्त को तहसील सदर परिसर में लेखपालों और वकीलों के बीच हुई तीखी झड़प और हाथापाई के बाद दोनों पक्षों ने एक-दूसरे के खिलाफ FIR दर्ज कराई थी। वकीलों की शिकायत पर 27 अगस्त को मुकदमा दर्ज हुआ, जबकि दो दिन बाद 29 अगस्त को लेखपाल शिवश्याम सिंह की तहरीर पर अधिवक्ता राजनाथ यादव, अभय यादव और जितेंद्र यादव के खिलाफ शिवपुर थाने में गंभीर धाराओं में मामला दर्ज किया गया। लेखपाल ने आरोप लगाया कि वकीलों ने उनके साथ मारपीट की, टेबल पटकी और उनकी गर्दन दबाने की कोशिश की। साथ ही, वीडियो बनाकर दुष्प्रचार करने का भी आरोप लगाया गया है।