नई दिल्ली, 10 मई 2025:
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के जवाब में भारतीय सेना ने 7 मई को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर (PoJK) में स्थित नौ आतंकी ठिकानों को निशाना बनाते हुए आतंकवाद के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की। इस ऑपरेशन में लश्कर-ए-तैयबा (LeT) और जैश-ए-मोहम्मद (JeM) जैसे प्रतिबंधित आतंकी संगठनों से जुड़े कम से कम पांच कट्टर आतंकियों के मारे जाने की खबर सामने आई है।
सूत्रों के अनुसार मारे गए आतंकियों में जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर के दो साले भी शामिल है। उनमें एक वर्ष 1999 के आईसी-814 विमान अपहरण मामले में वांछित था।
मारे गए आतंकवादियों के बारे में जानें
-मुदस्सर खादियान खास उर्फ अबू जुंदाल (LeT)
लश्कर-ए-तैयबा के मरकज तैयबा, मुरिदके का प्रमुख। पाकिस्तानी सेना द्वारा उसके अंतिम संस्कार में गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। पाक सेना प्रमुख और पंजाब की मुख्यमंत्री मरियम नवाज की ओर से पुष्पांजलि अर्पित की गई। जनाजे की नमाज एक सरकारी स्कूल में हुई, जिसमें जमात-उद-दावा के हाफिज अब्दुल रऊफ ने इमामत की। पाकिस्तानी सेना के एक लेफ्टिनेंट जनरल और पंजाब पुलिस के आईजी ने अंतिम संस्कार में भाग लिया।
-हाफिज मुहम्मद जमील (JeM)
जैश-ए-मोहम्मद के संस्थापक मौलाना मसूद अजहर का बड़ा साला। मरकज़ सुब्हान अल्लाह, बहावलपुर का प्रमुख। युवाओं की कट्टरपंथी विचारधारा में सक्रिय और संगठन के लिए पैसे जुटाने में लगा था।
-मुहम्मद यूसुफ अजहर उर्फ उस्ताद जी (JeM)
मौलाना मसूद अज़हर का साला। जैश-ए-मोहम्मद के लिए हथियार प्रशिक्षण का प्रभारी। जम्मू-कश्मीर में कई आतंकी हमलों में शामिल। आईसी-814 विमान अपहरण मामले में वांछित।
-खालिद उर्फ अबू अकाशा (LeT)
जम्मू-कश्मीर में कई आतंकी हमलों में शामिल। अफगानिस्तान से हथियारों की तस्करी में संलग्न। फैसलाबाद में अंतिम संस्कार, जिसमें पाकिस्तानी सेना के वरिष्ठ अधिकारी और फैसलाबाद के डिप्टी कमिश्नर शामिल हुए।
-मुहम्मद हसन खान (JeM)
जैश-ए-मोहम्मद के PoK में ऑपरेशनल कमांडर मुफ्ती असगर खान कश्मीरी का पुत्र। जम्मू-कश्मीर में आतंकी हमलों के समन्वय में प्रमुख भूमिका।