Uttar Pradesh

यूपी : हाईकोर्ट सख्त…आईएएस अफसर अनिल सागर के दो विरोधाभासी फैसले निरस्त

लखनऊ, 17 दिसंबर 2024:

यूपी के अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास विभाग के प्रमुख सचिव पद से तीन दिन पूर्व हटाए गए आईएएस अफसर अनिल कुमार सागर के दो फैसलों को इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ ने निरस्त कर दिया है। कोर्ट ने याचिकाकर्ता बिल्डरों को नए अधिकारी के सामने अपील करने का निर्देश दिया है।

यह फैसला न्यायमूर्ति पंकज भाटिया की एकल पीठ ने यूजी इन्फ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड और अन्य की याचिका पर सुनाया। कोर्ट ने यमुना एक्सप्रेसवे प्राधिकरण के अध्यक्ष रहते हुए अनिल सागर द्वारा लिए गए फैसलों को विरोधाभासी पाया था। इसके साथ अपर महाधिवक्ता को इस बारे में शासन से रिपोर्ट मांगने का निर्देश भी दिया था।

ग्रुप हाउसिंग के प्लॉट आवंटन का है पूरा मामला

याचिका में बताया गया कि यमुना प्राधिकरण ने लॉजिक्स बिल्डर को ग्रुप हाउसिंग के लिए प्लॉट का आवंटन किया था। इसकी लीज डीड वर्ष 2012 में हुई थी। बिल्डर से प्लॉट का एक हिस्सा यूजी इन्फ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड
ने खरीदा था। इसके साथ ही तीन अन्य बिल्डरों ने भी प्लॉट का हिस्सा खरीदा। इसकी लीज डीड वर्ष 2014 में हुई। बताते हैं कि प्रथम आवंटी बिल्डर को निर्माण व मानचित्र आदि पास कराने के लिए मिलने वाला समय दूसरे खरीदार को मिलना चाहिए लेकिन एक को छोड़कर अन्य बिल्डरों ने निर्माण शुरू नहीं किया। केवल ओएसिस बिल्डर ने निर्माण कराकर प्राधिकरण से कार्यपूर्ण होने का सर्टिफिकेट हासिल किया।

तीन बिल्डरों ने की अपील, एक का रद्द आवंटन किया बहाल

यमुना प्राधिकरण के नियमों का हवाला देते हुए तय समय में निर्माण नहीं कराने पर कई बिल्डरों का आवंटन निरस्त कर दिया गया था। इनमें तीन बिल्डरों ने अनिल सागर के पास अपील की। उन्होंने यूजी इंफ्रास्ट्रक्चर की अपील खारिज कर दी और सन व्हाइट बिल्डर का रद्द आवंटन बहाल कर दिया। ग्रोथ इंफ्रास्ट्रक्चर के मामले में फैसला सुरक्षित रख लिया। इसके बाद यूजी इंफ्रास्ट्रक्चर ने फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की।

याचिका में ये कहा गया… फिर सुनवाई करने का आदेश

इस याचिका में कहा गया कि प्राधिकरण के अध्यक्ष ने एक जैसे मामलों की एक ही दिन में सुनवाई की और एक के पक्ष व दूसरे के खिलाफ निर्णय दिया। उस पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने सोमवार को अनिल सागर के दो फैसले निरस्त करते हुए फिर सुनवाई कर छह सप्ताह में निर्णय लेने का आदेश दिया है।

तीन दिन पूर्व प्रमुख सचिव पद से हटाए गए थे अनिल सागर

इस मामले में हाईकोर्ट के सख्त रुख को देखते हुए गत शनिवार को प्रदेश सरकार ने अनिल कुमार सागर को अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास के प्रमुख सचिव के पद से हटा दिया था। इस पद पर अनिल सागर एक दिसंबर 2022 से तैनात थे। इसके साथ ही वे यमुना एक्सप्रेसवे प्राधिकरण के चेयरमैन भी थे। उन्हें सभी पदों से हटाकर वेटिंग में डाल दिया गया।

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