
वाराणसी, 11 जून 2025:
ज्येष्ठ पूर्णिमा पर काशी के मणिकर्णिका घाट का माहौल पूरी तरह भक्तिमय नजर आया। यहां स्थित श्री विष्णु चरण पादुका पर बुधवार को भव्य पूजन हुआ। यह वही पवित्र जगह मानी जाती है जहां भगवान विष्णु ने सृष्टि से पहले हजारों सालों तक तप किया था। इस खास मौके पर ज्योतिष्पीठाधीश्वर शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती महाराज खुद पूजन के लिए पहुंचे और विधिवत तरीके से पूजा-अर्चना की।
पूजन का आयोजन श्री काशी तीर्थ पुरोहित सभा ने किया था। सभा के अध्यक्ष पंडित मनीष नन्दन मिश्र ने बताया कि शास्त्रों और पुराणों में इस जगह का खास महत्व बताया गया है। शंकराचार्य जी ने पंचोपचार विधि से विष्णु चरण पादुका और चक्र पुष्करिणी तीर्थ का पूजन किया।
शंकराचार्य ने कहा कि हमें अब ये संकल्प लेना चाहिए कि गौ माता को राष्ट्र माता का दर्जा दिलाना है। उन्होंने घाट की स्थिति पर चिंता जताते हुए कहा कि स्नान करने आए लोग और शवयात्राएं एक ही जगह हैं – सरकार को चाहिए कि इनके लिए अलग-अलग व्यवस्था करे। पूजन के बाद उन्होंने रत्नेश्वर महादेव और श्री विष्णु चक्र के दर्शन भी किए।