
लखनऊ, 22 जनवरी 2025:
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ और तत्कालीन डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा से संबंधित एक आपत्तिजनक मैसेज व्हाट्सएप ग्रुप में प्रसारित करने के मामले में उत्तर प्रदेश राज्य सचिवालय में अतिरिक्त निजी सचिव के पद से बर्खास्त अमर सिंह को कोर्ट से बड़ी राहत मिली है।
सीएम व डिप्टी सीएम से संबंधित आपत्तिजनक मैसेज व्हाट्सएप ग्रुप पर प्रसारित करने का था आरोप
इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने एक अहम फैसले में अमर सिंह की बर्खास्तगी के आदेश को खारिज कर उन्हें दोबारा नियुक्त करने का आदेश दिया है।
वर्ष 2020 में किया गया था बर्खास्त
वर्ष 2020 में अमर सिंह को सेवा से बर्खास्त करने का शासन से आदेश हुआ था। शासन में गुहार लगाने के बाद उन्होंने हाईकोर्ट की शरण ली। कोर्ट ने सुनवाई की और सरकार की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाने की मंशा साबित करने के लिए सबूतों की कमी पाते हुए उस आदेश को रद्द कर दिया।
हाईकोर्ट ने कहा-अधिक उदार होनी चाहिए थी सजा
कोर्ट ने कहा कि यह सजा संदेश को अनजाने में अग्रेषित करने के लिए बहुत अधिक अनुपातहीन थी। न्यायमूर्ति आलोक माथुर ने कहा कि याचिकाकर्ता का यह स्वीकार करना कि उसने अनजाने में संदेश को अग्रेषित किया, एक महत्वपूर्ण कारक है। उन्होंने कहा कि मेरी राय में सजा अधिक उदार होनी चाहिए थी। जैसे कि कर्मचारी के सेवा रिकॉर्ड में निंदा या प्रतिकूल प्रविष्टि दर्ज करना। कोर्ट ने ये भी कहा कि उसे एक सरकारी कर्मचारी के रूप में ऐसी आपत्तिजनक सामग्री से निपटने में सावधानी बरतनी चाहिए थी लेकिन उसके कार्य दुर्भावनापूर्ण नहीं थे।