
नई दिल्ली, 18 अगस्त 2025
चीन के विदेश मंत्री वांग यी सोमवार से दो दिन की यात्रा पर भारत आ रहे हैं। इस दौरे को भारत-चीन संबंधों को सुधारने की अहम कोशिश माना जा रहा है। वांग यी इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, विदेश मंत्री एस. जयशंकर और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से मुलाकात करेंगे। उनका एजेंडा सीमा विवाद, व्यापारिक तनाव और द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा करना है।
2020 में गलवान घाटी में हुई झड़प के बाद से दोनों देशों के बीच संबंधों में खटास आई थी। हालांकि कई दौर की वार्ताओं के बाद टकराव वाली जगहों से सैनिक पीछे हटे हैं, लेकिन पूर्वी लद्दाख में अब भी 50 से 60 हजार सैनिक तैनात हैं। ऐसे में वांग की यात्रा दोनों देशों के बीच स्थायी शांति की दिशा में अहम कदम मानी जा रही है।
वांग यी की यात्रा ऐसे समय हो रही है जब अमेरिका ने भारत पर टैरिफ दोगुना कर दिया है और रूसी तेल खरीद पर 25% अतिरिक्त शुल्क लगा दिया है। इस वजह से भारत-चीन के बीच व्यापार पर भी चर्चा की संभावना है। विशेषज्ञों का मानना है कि मौजूदा वैश्विक परिदृश्य में भारत और चीन आर्थिक सहयोग को नई दिशा देने की कोशिश कर सकते हैं।
विदेश मंत्री वांग सोमवार शाम करीब 4:15 बजे नई दिल्ली पहुंचेंगे। शाम 6 बजे उनकी मुलाकात विदेश मंत्री जयशंकर से होगी। मंगलवार सुबह वे राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से सीमा मुद्दों पर विशेष वार्ता करेंगे। इसके बाद शाम 5:30 बजे प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात तय है।
प्रधानमंत्री मोदी इस महीने के अंत में चीन यात्रा पर जाएंगे और शंघाई कोऑपरेशन ऑर्गनाइजेशन (SCO) की बैठक में हिस्सा लेंगे। मोदी छह साल बाद चीन जा रहे हैं, उनकी पिछली यात्रा 2018 में हुई थी। इस लिहाज से वांग की यात्रा को मोदी की आगामी यात्रा की तैयारी और दोनों देशों के बीच रिश्तों को फिर से पटरी पर लाने का प्रयास माना जा रहा है।






