Uttar Pradesh

गोरखपुर : भाजपा के वरिष्ठ नेता की दुकान बुलडोजर से गिराई, भूमाफिया पर लगा आरोप

हरेंद्र दुबे

गोरखपुर, 20 सितंबर 2025 :

यूपी के गोरखपुर जिले में मुख्यालय स्थित कोतवाली क्षेत्र के नियामचक में भाजपा के वरिष्ठ नेता और उत्तर प्रदेश राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के सदस्य चिरंजीव चौरसिया की 45 साल पुरानी दुकान कुछ बुलडोजर चलाकर ध्वस्त कर दी गई। भाजपा नेता ने भूमाफिया को नामजद करते हुए केस दर्ज कराया है। गिरफ्तारी की मांग करते हुए भाजपा नेता जब मीडिया से रूबरू हुए तो पूरी बात कहते हुए भावुक हो गए।

दरअसल भाजपा के वरिष्ठ नेता और उत्तर प्रदेश राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के सदस्य चिरंजीव चौरसिया दीवान बाजार में रहते हैं। कोतवाली गोरखपुर के प्रभारी निरीक्षक को दिए गए शिकायती पत्र में उन्होंने बताया है कि उनकी नियामत चक में 1980 से किराए पर एक दुकान है। उसी से व्यवसाय करते हैं। इसी क्षेत्र में रहने वाले भूमाफिया दुर्गा प्रसाद जायसवाल ने बुलडोजर से ध्वस्त कर जमींदोज कर दी। वहां रखा 10 हजार कैश व तमाम सामान भी उठा ले गया। पुलिस ने उनकी शिकायत पर केस दर्ज किया लेकिन गिरफ्तारी नहीं हुई।

इसी मामले में चिरंजीव चौरसिया आरोपी की गिरफ्तारी की मांग को लेकर भाजपा नेता एसएसपी से मिलने उनके कार्यालय पहुंचे थे। एसएसपी अभी कार्यालय नहीं पहुंचे थे इसलिए वह उनके इंतजार में जमीन पर बैठ गए। बाद में सीओ कोतवाली ओंकार दत्त त्रिपाठी ने उन्हें सहारा देकर उठाया और एसपी सिटी के कक्ष में ले गए। जहां उनसे बात हुई। मीडिया से बातचीत में बुलडोजर की बात पर वह भावुक हो गए। उन्होंने बताया कि ये दुकान उन्होंने गायत्री देवी से किराए पर ली थी। उनका लड़का जब बड़ा हुआ तो नशा करता था।

उन्होंने आरोप लगाया कि भूमाफिया ने उसे शराब पिला-पिलाकर अधमरा कर दिया। जब वह मरने की स्थिति में हो गया तो जमीन लिखवा ली। हालांकि गायत्री देवी के लड़के ने मुझसे भी 3 लाख रुपये लिए थे। दूसरे पक्ष को जमीन लिखने की बात उसी पक्ष ने बताई। मैंने आज तक कोई कागज नहीं देखा। मैंने उनसे बार-बार रजिस्ट्री का कागज मांगा लेकिन उन्होंने नहीं दिखाया। दो दिन पहले उसे अपनी दुकान के पास देखकर मुझे शक हुआ था। इसलिए मैंने मंडलायुक्त को यह बात बताई। वह 15 व 16 सितंबर को अवकाश पर थे। उन्होंने एसडीएम की ड्यूटी लगा दी। उसके बाद मैं लखनऊ जाने की तैयारी कर रहा था। तभी शुक्रवार की सुबह मेरी दुकान बुलडोजर से गिरा दी गई। मेरी कभी कोई बात न तो कथित भूमाफिया से हुई और न ही गायत्री देवी के परिवार से। इस दौरान उन्होंने आरोपी की चौकी प्रभारी से मिलीभगत का आरोप भी लगाया।

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