Bihar

हिंदू स्वाभिमान यात्रा में गरजे गिरिराज सिंह, बोले- हमने ताजिया में लाठी भी भांजी साथ दिया लेकिन कभी पत्थर नहीं फेंका

भागलपुर, 18 अक्टूबर 2024
केंद्रीय मंत्री व बेगूसराय सांसद गिरिराज सिंह (Giriraj Singh) ने हिंदू स्वाभिमान यात्रा की शुरुआत आज भागलपुर से कर दी है। इस दौरान जिला स्कूल मैदान में उन्होंने विशाल जनसभा को भी संबोधित किया जहां उन्होंने अपनी इस यात्रा को लेकर कई सारी बातें कही, गिरिराज सिंह (Giriraj Singh) ने कहा कि जब हम धर्म की रक्षा करते हैं, तो धर्म भी हमारी रक्षा करता है, और मैंने यह यात्रा संतों की अगुवाई में की है। आगे उन्होंने कहा कि क्या दुर्गा पूजा के आयोजन के लिए परमिशन लेना पड़ेगा, इसी के लिए देश का बंटवारा हुआ था, या फिर यह सोची समझी साजिश है। जब बांग्लादेश में मंदिरों को तोड़ दिया जाता है तब किसी की नींद नहीं खुलता है जब कोई यात्रा वोट बटोरने के लिए निकलता है तब तो कोई नहीं बोलता आखिर क्यों निकल रहे हैं? या कोई मुसलमान को इकट्ठा करने के लिए यात्रा निकालते तो किसी को पेट में दर्द नहीं होता।

आगे गिरिराज सिंह (Giriraj Singh) ने कहा कि बिहार में हमारी जनसंख्या गिर गई है। अररिया, किशनगंज, कटिहार, पूर्णिया में भी हमारी जनसंख्या गिर गई है, मैं आपको चेताने आया हूं, अगर आप संगठित रहे एक रहे तो सशक्त भारत रहेगा, यह भारत अभी तक सुरक्षित है जब तक सनातन हिंदू संगठित है। आप देख ले की कौन से देश में है, पाकिस्तान में ही नहीं रहे हमारे भाई बट के गए बांग्लादेश में नहीं बचे, क्या हो गया, मैं आपसे प्रार्थना करने आया हूं हमारे मंदिर टूट गए हमारी बेटियां लुट गई, अब हम 70 प्रतिशत पर आ गए हैं, जहां 3 हज़ार मस्जिदों थी अब 20 लाख हो गई है। 1947 से अब तक ताजिया निकलता है हमने तो ताजिया में लाठी भांजी साथ दिया पैसे भी पिताजी ने दिए कभी एक पत्थर नहीं फेका।

वहीं उन्होंने कहा कि यह यात्रा है अपना अस्तित्व बचाने के लिए, यह यात्रा है भाई-भाई को एक करने के लिए, मैं कोई दंगा फसाद नहीं करता। सुना है तेजस्वी भाई का यात्रा परसों उन्होंने रद्द कर दिया किसी ने मुझे कहा, तेजस्वी ने कहा कि जिसे जाना है जाएं, जो हिंदू चले जाओ गिरिराज जी की यात्रा में। मैं समझता हूं यह यात्रा किसी राजनीतिक दल का नहीं है राजद के हिंदू कम्युनिस्ट के हिंदू जदयू के हिंदू भारतीय जनता पार्टी के हिंदू लोजपा के हिंदू साथ चल रहे हैं यह हिंदुओं की यात्रा है। यह यात्रा केवल यही नहीं समाप्त करना है अगले चरण में गांव-गांव में जाकर इस यात्रा को जगाना है।

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