अंशुल मौर्य
वाराणसी, 4 सितंबर 2025:
यूपी के वाराणसी में ‘मेरी काशी एम्बेसडर कार्यक्रम’ की शुरुआत हुई है। इस अनूठी पहल का उद्देश्य काशी और सारनाथ के 170 ऐतिहासिक स्थानों की कहानियों को सोशल मीडिया के माध्यम से दुनिया तक पहुंचाना और स्थानीय युवाओं को काशी का ब्रांड एम्बेसडर बनाना है।
इसी क्रम में आयुक्त कार्यालय परिसर में ‘मेरी काशी क्रिएटर्स पाठशाला’ का आयोजन किया गया। इसमें 275 स्थानीय सोशल मीडिया के प्रभावशाली लोगों और युवाओं ने भाग लिया। इस पाठशाला में मास्टर-स्टोरीटेलर विशेषज्ञों और यूट्यूब के प्रतिनिधियों ने प्रतिभागियों को कहानी कहने की तकनीकों, रील बनाने, दर्शकों तक पहुंच बढ़ाने और सामग्री के मुद्रीकरण (monetization) पर प्रशिक्षण दिया।
केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय, उत्तर प्रदेश पर्यटन और वाराणसी जिला प्रशासन के सहयोग से शुरू हुए कार्यक्रम के बारे में कमिश्नर एस. राजलिंगम ने बताया कि प्रशिक्षण के बाद ‘मेरी काशी’ पाठ्यक्रम मॉड्यूल शुरू किया जाएगा। इस मॉड्यूल के तहत युवाओं को काशी की कहानियों पर आकर्षक रील बनाने और उन्हें #merikashi हैशटैग के साथ सोशल मीडिया पर अपलोड करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। सर्वश्रेष्ठ रील्स का मूल्यांकन कर विजेताओं को ‘मेरी काशी एम्बेसडर’ की उपाधि दी जाएगी, जो काशी की कहानियों को राष्ट्रीय और वैश्विक मंचों पर ले जाएंगे। इन एम्बेसडर्स को काशी की आधिकारिक वेबसाइट पर भी सूचीबद्ध किया जाएगा, जिससे देशी-विदेशी पर्यटक उनसे जुड़ सकें।
डीएम सत्येन्द्र कुमार ने इस कार्यक्रम को काशी की सांस्कृतिक धरोहर को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने कहा कि मॉड्यूल पूरा करने और मूल्यांकन के बाद युवा आधिकारिक टूरिस्ट गाइड बन सकते हैं, जिससे उन्हें आजीविका के नए अवसर मिलेंगे।
इस पहल के साथ ही पर्यटन मंत्रालय और MyGov ने ‘दुनिया के सबसे पुराने जीवित शहर-काशी’ के लिए एक लोगो डिजाइन प्रतियोगिता भी शुरू की है, जिससे काशी की वैश्विक पहचान को और अधिक मजबूती मिलेगी।