
मुंबई, 19 जुलाई 2025
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) अक्टूबर महीने में एक बार फिर रेपो रेट में कटौती कर सकता है। इस बार रेपो रेट में 25 बेसिस प्वाइंट (0.25%) की संभावित कटौती का संकेत ग्लोबल ब्रोकरेज फर्म मॉर्गन स्टेनली ने दिया है। अगर ऐसा होता है, तो बैंकों से मिलने वाले लोन की ब्याज दरों में कमी आ सकती है और आम लोगों की ईएमआई का बोझ घट सकता है।
मॉर्गन स्टेनली की रिपोर्ट के अनुसार, अगस्त में होने वाली अगली मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक में RBI मौजूदा ब्याज दरों को स्थिर रख सकता है, लेकिन यदि महंगाई दर में गिरावट का ट्रेंड बना रहा तो अक्टूबर में कटौती की पूरी संभावना है।
महंगाई दर में कमी को इस अनुमान की मुख्य वजह बताया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि फरवरी 2025 से उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) आधारित महंगाई 4% से नीचे बनी हुई है। जून में यह दर और घट गई, जो बीते वर्षों की तुलना में सबसे निचले स्तरों में से एक है। खासतौर पर खाद्य पदार्थों — जैसे गेहूं और दालों — की कीमतों में 1.1% की गिरावट आई है। इसके पीछे अच्छी फसल, मौसम की अनुकूलता और सरकारी हस्तक्षेप जैसे स्टॉक सीमा और सब्सिडी का बड़ा हाथ बताया गया है।
दूसरी ओर, HSBC की रिपोर्ट में कहा गया है कि अगस्त और अक्टूबर दोनों बैठकों में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। हालांकि, उन्होंने भी 2025 के अंत तक रेपो रेट के 5.25% तक घटने की संभावना जताई है।
वर्तमान में रेपो रेट 5.50% है, और यदि इसमें कटौती होती है तो होम लोन, पर्सनल लोन और ऑटो लोन लेने वालों को सीधा फायदा मिलेगा।
RBI की यह संभावित राहत ऐसे समय में आ सकती है जब आर्थिक विकास को रफ्तार देने की जरूरत महसूस की जा रही है। अब निगाहें अक्टूबर की बैठक पर टिकी हैं, जहां सस्ते कर्ज की उम्मीद एक बार फिर से जाग उठी है।