
कैलिफोर्निया, 3 अगस्त 2025
भारतीय मूल के अमेरिकी व्यवसायी और खालिस्तान विरोधी सामाजिक कार्यकर्ता सुखी चहल की कैलिफोर्निया में रहस्यमयी परिस्थितियों में मौत हो गई। चहल की मौत की जानकारी उनके करीबी दोस्त जसपाल सिंह ने दी। सिंह ने बताया कि गुरुवार को किसी परिचित ने सुखी को रात के खाने पर बुलाया था, जिसके कुछ ही समय बाद उनकी तबीयत बिगड़ गई और मौके पर ही उनका निधन हो गया।
जसपाल सिंह का कहना है कि चहल पूरी तरह स्वस्थ थे और उनकी अचानक हुई मौत कई सवाल खड़े करती है। सिंह ने इस बात पर भी संदेह जताया कि यह घटना 17 अगस्त को वाशिंगटन डीसी में प्रस्तावित खालिस्तान जनमत संग्रह से ठीक पहले हुई है, जिसका चहल खुलकर विरोध कर रहे थे।
सुखी चहल ‘खालसा टुडे’ के संस्थापक और सीईओ थे और वह लंबे समय से खालिस्तानी विचारधारा का मुखर विरोध कर रहे थे। उन्हें खालिस्तान समर्थकों से कई बार जान से मारने की धमकियां मिल चुकी थीं, लेकिन उन्होंने कभी भी डर नहीं दिखाया और अपने विचारों पर कायम रहे। उनके परिचित बूटा सिंह कलेर ने कहा कि इतनी धमकियों के बावजूद भी वह निडरता से अपनी बात रखते रहे और भारतीय मूल के अमेरिकियों को अमेरिकी कानूनों का पालन करने की सलाह देते रहे।
कुछ ही दिन पहले चहल ने सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए कहा था कि अमेरिका में कोई भी भारतीय प्रवासी अगर कानून तोड़ता है तो उसका वीजा रद्द हो सकता है और भविष्य में अमेरिका में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी।
फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच कर रही है और पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है। चहल की मौत से भारतीय मूल के अमेरिकी समुदाय और भारत समर्थक समूहों में शोक की लहर दौड़ गई है।






