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मनी लॉन्ड्रिंग मामला: जगन मोहन रेड्डी की 27 करोड़ से अधिक की संपत्ति जब्त, 14 साल बाद ED की कार्रवाई

हैदराबाद,18 अप्रैल 2025

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी से जुड़े 405 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की संपत्तियों को जब्त किया है। जब्त की गई संपत्तियों में 27.5 करोड़ रुपये के शेयर और डालमिया सीमेंट्स (भारत) लिमिटेड (DCBL) की 377.2 करोड़ रुपये की जमीन शामिल है। ईडी की यह कार्रवाई 2011 में दर्ज एक मनी लॉन्ड्रिंग मामले से जुड़ी है।

ईडी की हैदराबाद यूनिट ने यह कार्रवाई क्विड प्रो क्वो निवेश से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग मामले में की है। डीसीबीएल की ओर से कहा गया है कि जब्त संपत्तियों का मूल्य 793.3 करोड़ रुपये है। गौरतलब है कि यह मामला 2011 में सीबीआई द्वारा दर्ज की गई एफआईआर से जुड़ा है, जिसमें डीसीबीएल द्वारा भारती सीमेंट कॉर्पोरेशन प्राइवेट लिमिटेड में निवेश किए जाने की बात कही गई थी।

ईडी के अनुसार, डीसीबीएल ने जगन की कंपनियों को 95 करोड़ रुपये का भुगतान किया, जिसके बदले कडप्पा जिले में 407 हेक्टेयर की खनन लीज ट्रांसफर की गई। जांच एजेंसियों का आरोप है कि डीसीबीएल और जगन के बीच हुए एक समझौते के तहत रघुराम सीमेंट्स लिमिटेड के शेयर फ्रेंच कंपनी PARFICIM को 135 करोड़ रुपये में बेचे गए, जिनमें से 55 करोड़ रुपये हवाला के जरिए नकद में जगन को दिए गए।

सीबीआई ने 8 अप्रैल 2013 को जगन और अन्य आरोपियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम और आईपीसी की धाराओं के तहत चार्जशीट दाखिल की थी। ईडी का दावा है कि 139 करोड़ रुपये हवाला चैनलों के माध्यम से जगन की कंपनियों को भेजने की योजना थी, जिसमें से 55 करोड़ रुपये पहले ही दिए जा चुके थे।

डालमिया सीमेंट्स ने बाजार नियामक सेबी को सूचित किया है कि उन्हें 15 अप्रैल 2025 को अटैचमेंट का आदेश प्राप्त हुआ, लेकिन इससे कंपनी के कामकाज पर कोई असर नहीं पड़ा है। कंपनी ने कहा कि वह आदेश की समीक्षा कर उचित कानूनी कदम उठाएगी।

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