Uttar Pradesh

सुपरटेक प्रोजेक्ट मामले में सुप्रीम कोर्ट की नोएडा अथॉरिटी को फटकार, एनबीसीसी को जारी किया नोटिस

नोएडा, 19 मार्च 2025

सुप्रीम कोर्ट ने नोएडा अथॉरिटी को कड़ी फटकार लगाई है और कहा है कि अथॉरिटी खुद इस समस्या की जिम्मेदार है। सुप्रीम कोर्ट की चीफ जस्टिस संजीव खन्ना की अगुवाई वाली बेंच ने टिप्पणी की कि अथॉरिटी ने ऐसा सिस्टम क्यों बनाया, जो बिल्डर के पक्ष में था, जिससे हजारों होमबायर्स 10 साल से अधिक समय से परेशान हैं। कोर्ट ने अधिकारियों की जिम्मेदारी तय करने के लिए एसआईटी गठित करने की भी चेतावनी दी

सुप्रीम कोर्ट ने नोएडा अथॉरिटी की उस याचिका को खारिज कर दिया, जिसमें उसने नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्राइब्यूनल (NCLAT) के आदेश को चुनौती दी थी। एनसीएलएटी ने सुपरटेक के 16 अधूरे प्रोजेक्ट्स को नेशनल बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन कॉरपोरेशन (NBCC) को सौंपने का निर्देश दिया था ताकि वह निर्माण कार्य पूरा कर सके। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने 21 फरवरी को एनसीएलएटी के इस आदेश पर रोक लगा दी थी

सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में एनबीसीसी को नोटिस जारी किया है। सोमवार को सुनवाई के दौरान नोएडा अथॉरिटी की ओर से पेश हुए एडवोकेट संजीव सेन ने दलील दी कि कंपनी दिवालिया प्रक्रिया से गुजर रही थी, इसलिए एनबीसीसी को यह प्रोजेक्ट सौंपना एनसीएलएटी के अधिकार क्षेत्र से बाहर था

दो अपीलों पर हुई सुनवाई
सुप्रीम कोर्ट ने एनबीसीसी की नियुक्ति को चुनौती देने वाली दो अपीलों पर सुनवाई की और बायर्स की स्थिति को लेकर चिंता जताई। कोर्ट यह जांचने का निर्णय लिया कि क्या एनसीएलएटी ने एनबीसीसी की नियुक्ति के दौरान इंसॉल्वेंसी एंड बैंकरप्सी कोड (IBC) के तहत सही प्रक्रिया अपनाई थी या नहीं

एनसीएलएटी ने 12 दिसंबर 2024 को अपने आदेश में एनबीसीसी को सुपरटेक की 16 रुकी हुई परियोजनाओं को पूरा करने का निर्देश दिया था, जिसकी अनुमानित लागत 9500 करोड़ रुपये थी। इन प्रोजेक्ट्स में फंसे 27,000 से अधिक होमबायर्स अपने घरों के इंतजार में हैं

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