
वाराणसी,उत्तरप्रदेश।24 दिसंबर 2024
वाराणसी के पिंडरा में क्रिसमस के अवसर पर एक अनोखी परंपरा निभाई जाती है, जहां मसीही समाज के लोग भोजपुरी में कैरोल गाते हैं। यहां करीब 250 मसीही परिवार हर साल क्रिसमस की पूर्व संध्या से ही यीशु के जन्म का उत्सव मनाते हैं। भोजपुरी में गाए जाने वाले इन कैरोल्स में महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग सभी भाग लेते हैं, जो आमतौर पर सोहर के रूप में होते हैं, जो पूर्वांचल में बच्चों के जन्म पर गाए जाते हैं। इन गीतों में यीशु के जन्म और उनकी महानता की सराहना की जाती है।
पिंडरा का भोजपुरी चर्च 1992 में स्थापित हुआ था, और इसका उद्देश्य पूर्वांचल के लोगों को बाइबिल का संदेश भोजपुरी में देना था, ताकि लोग इसे बेहतर समझ सकें। चर्च में हर रविवार को बाइबिल का संदेश भोजपुरी में सुनाया जाता है, और क्रिसमस पर विशेष प्रार्थनाएं आयोजित की जाती हैं। इस चर्च में न केवल मसीही समुदाय के लोग, बल्कि आस-पास के अन्य समुदायों के लोग भी शामिल होते हैं, विशेष रूप से वे लोग जिनके घरों में बीमारियां होती हैं, उनके लिए विशेष प्रार्थना की जाती है।






