
महाकुंभ नगर, 26 फरवरी 2025:
महादेव का महापर्व महाकुंभ के समापन पर नया इतिहास रच रहा है। 65 करोड़ श्रद्धालुओ का आंकड़ा पार कर ये विश्व का सबसे बड़ा आयोजन हो गया है। शिवमय हुई तीर्थराज प्रयागराज की भूमि पर आस्था की उठती हिलोरें आसमान छूने को बेताब हैं। रास्तों व घाटों पर किसी महानगर की आबादी से अधिक श्रद्धालुओं की भीड़ को नियंत्रित करने में अफसरों व सुरक्षाकर्मियों को पसीना बहाना पड़ रहा है।
आस्था का कैलाश पर्वत बना तीर्थराज
तीर्थराज प्रयागराज महाशिवरात्रि पर्व पर आस्था के कैलाश पर्वत का रूप ले चुका है। देश के हर प्रांत जिले से कोई न कोई यहां स्नान कर चुका है या आकर निकल रहा है। यही नहीं विदेशियों की खासी तादात देखी जा रही है। हर तरफ गंगा मैया की जय और महादेव का जयघोष गूंज रहा है। सरकार को पहले से ही इस सैलाब का अनुमान था इसलिए उसी तरह व्यवस्था की गई है। बोट पेट्रोलिंग की जा रही है घुड़सवार पुलिस सक्रिय है। वाहनों के प्रवेश रोके गए हैं और नियंत्रण के लिए जगह जगह बैरिकेड भी लगाए गए हैं। पसीना बहाने के बाद भी सुरक्षाकर्मियों की विनम्रता देख कर श्रद्धालु भी गदगद हैं।
समापन की भीड़ ने दिया विश्व के सबसे बड़े आयोजन का दर्जा
आलम ये है कि सुबह से डुबकी लगाने वालों की संख्या 85 लाख से ऊपर निकल गई है और आयोजन अवधि में अभी तक का आंकड़ा 65 करोड़ पार कर चुका है। इस संख्या ने महाकुंभ को विश्व के सबसे बड़े आयोजन के आसन पर विराजमान कर दिया है। सीएम ने सुबह ही यहां आने वाले श्रद्धालुओं का प्रयागराज में महाशिवरात्रि के पावन स्नान पर्व पर त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगाने आये सभी पूज्य साधु-संतों, कल्पवासियों एवं श्रद्धालुओं का अभिनंदन किया था।