श्रावस्ती,8 जनवरी 2025
श्रावस्ती जिले के मल्हीपुर थाना क्षेत्र के लक्ष्मनपुर गंगापुर निवासी मुबारक अली उर्फ नूरी बाबा के काले कारनामों का खुलासा हो रहा है। साईं जाति से होने के कारण उसे बाबा की उपाधि मिली, लेकिन उसने कबाड़ी के काम से शुरुआत करते हुए नकली नोटों के व्यापार तक का सफर तय किया। रमजान के महीने में मुंबई जाकर मस्जिद और मदरसा निर्माण के नाम पर चंदा वसूलना, कभी नेपाल तो कभी पश्चिम बंगाल जाकर तकरीर करना और खुद को कट्टर मुसलमान साबित करने की कोशिश उसके कामों का हिस्सा था। सोशल मीडिया पर उसकी पाकिस्तान प्रेम से जुड़ी पोस्ट और पाकिस्तानी ध्वज के साथ फोटो ने उसकी मंशा पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
नूरी बाबा ने अपने काले कारनामों को छिपाने के लिए आठ साल पहले गांव में एक मदरसा खोला। इसके लिए उसने गांव के पांच भाइयों से उनकी जमीन ले ली। मदरसे की आड़ में उसने अपनी गतिविधियां जारी रखीं। पुलिस अब उसके नेटवर्क की गहराई से जांच कर रही है और यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि कहीं उसके तार पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई से तो नहीं जुड़े हैं। फिलहाल, पुलिस खामोशी से उसके संपर्क और गतिविधियों की जांच कर रही है।